राफिया नाज
राफिया नाज | |
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जन्म |
खुशबू 26 जनवरी 1997 डोरंडा , जिला-रांची, झारखण्ड, भारत |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
व्यवसाय | योगी |
प्रसिद्धि कारण | योग, प्राणायाम |
धार्मिक मान्यता | इस्लाम |
राफिया नाज भारतीय योग-गुरु हैं, राफिया नाज ने भारतीय संस्कृति योग के क्षेत्र योगासन योग में अहम योगदान दिया है। वह अपंग,गरीब वर्ग के बच्चों को और अनाथालय में रहने वाले बच्चों को निशुल्क योग भी सिखाती हैं।
जीवन चरित[सम्पादन]
राफिया नाज का जन्म 26 जनवरी 1997 को हुआ था। उनके पिता एक वाव्यासी हैं और माँ एक शिक्षक थी । वह अपने दो भाइयों और एक बहन के बाद अपने परिवार का सबसे बडी है। जब वह चार साल की थी तब उसने योग करना शुरू कर दिया। राफिया राज्य के स्तर के साथ-साथ राष्ट्रीय स्तर पर अपने स्कूल, कॉलेज में योग में 52 से अधिक स्वर्ण पदक और ट्रॉफी जीती है । इसके अलावा उन्होंने राष्ट्रीय बहस प्रतियोगिता और लेखन में भी पुरस्कार जीती है । राफिया का मुख्य उद्देश्य भारतीय संस्कृति योग को धर्म के चंगुल से बचाने के साथ अनाथ और पिछड़े वर्ग को मुख्य धारा से जोड़ना है और साथ ही साथ भारत में योग को खेल का दर्जा दिलवाना है। वह योगा बियोंड रिलिजन (योग धर्म से परे) संगठन की संस्थापक भी हैं। उन्हें आखिल भारतीय योग माहासम्मेलन मे योग प्रभा का खिताब और अंतरराष्ट्रीय योग सम्मेलन मे उन्हें राष्ट्रीय पतंजलि योग प्रमोटर पुरस्कार से सम्मानित किया गया। उन्होंने हजारों लोगों के सामने मंच में राम देव बाबा के साथ योग भी किया गाया । उन्होंने भारत का दौरा मे आए कई विदेशी लोगों को योग का पाठ पढ़ाया है और वह अपंग,गरीब वर्ग के बच्चों को या अनाथालय में रहने वाले बच्चों को निशुल्क योग भी सिखाती हैं। वह चाहती हैं कि गरीब लोगों के साथ-साथ प्रत्येक वर्ग के लोग धर्म से परे योग मिशन में शामिल हों ताकी उनके साथ जो घटनाये घटी वह किसी और के साथ ना घटे|योग के कारण राफिया पर कई हमले किए गए। उसे बताया गया कि अगर वह योग नहीं छोड़ेगी तो उसे मार दिया जाएगा, उसके घर पर पत्थरों को फेंक दिया गया था,राफिया और उसके पारिवार पर अत्याचार किया जा रहा था कि उसे अपने धर्म से बाहर फेंक दिया जाएगा। पिछले कुछ वर्षों से राफिया और उसके परिवार को बड़ी समस्याएं हैं, उन पर हमला किया जा रहा है, अब और अपमानित भी । इन सभी चीजों को देखते हुए झारखंड के मुख्यमंत्री ने उनकी सुरक्षा और दो रक्षक दिए।इन सभी घटनाओं के बाद भी राफिया ने अपने योग उपदेशों को नहीं छोड़ा और वह योग कर रही है , वह लोगों को बताना चाहती है कि योग कितना शक्तिशाली है ताकि किसी और महिला को उसके जैसे यातना नहीं दी जा सके। वह अपनी आवाज़ उठाना चाहती है और कहती है कि दवा के पास कोई धर्म नहीं है, योग में कोई धर्म नहीं है और सब से ऊपर केवल एक ही धर्म है जो मानवता है।
==योगा बियोंड रिलिजन==
योग को बढ़ावा देने के लिए राफिया नाज ने योगा बियोंड रिलिजन की स्थापना की। झारखण्ड में योगा बियोंड रिलिजन की मुख्य शाखा हैं !
राफिया नाज के प्रमुख कार्य[सम्पादन]
*योग जागरूकता शिविर
सन्दर्भ[सम्पादन]
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